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चंडीगढ़/ सदाबहार फिल्मी गानों से सजी महफिल के दौरान कई कलाकार हुए सम्मानित

✍️ सोहन रावत, चंडीगढ़

सावन के झूल पडे़, अब के बरस सावन में जैसे एक से बढ़कर एक कई सदाबहार गानों की प्रस्तुति देकर गायकों ने श्रोताओं का मन लिया मोह

चंडीगढ़ : जया गोयल सोशल वेलफेयर सोसाइटी द्वारा सावन मास के उपलक्ष्य पर सदाबहार गानों से सजी महफिल का आयोजन समाज सेवी व सोसाइटी की प्रेसिडेंट जया गोयल के नेतृत्व में मनीमाजरा के एक होटल में आयोजित किया गया। जिसमें ट्राईसिटी सहित पंजाब, हरियाणा से आए अव्यवसायिक गायकों ने लिया हिस्सा लिया और एक से बढ़कर सदाबहार गानों को श्रोताओं को समक्ष प्रस्तुत कर सभी का मन मोह लिया। गायको ने लता मंगेशकर, किशोर कुमार, मो रफी, आशा भसोले जैसे प्रतिष्ठत गायकों द्वारा गाये गए गानों को अपनी आवाज में प्रस्तुत करने का एक बेहतर प्रयास किया। कार्यक्रम में 25 से अधिक अव्यवसायिक गायकों ने भाग लिया और इस कार्यक्रम को यादगार बना दिया।

इस कार्यक्रम में विशेष अतिथि के तौर पर कर्नल (रिटायर्ड) सीएम शर्मा, कर्नल विक्रम सिंह तथा समाज सेवी प्रियंका राठौर ने शिरकत की। इस दौरान उनका स्वागत कार्यक्रम के आयोजक, समाज सेवी सोसायटी की प्रेसिडेंट जया गोयल, तथा सोसायटी के सदस्य उमेश कुमार गोयल व सुशील कुमार गोयल ने पुष्पगुच्छ देकर किया, जिसके उपरांत दीप प्रज्वलित कर कार्यक्रम की शुरुआत की गई।

समाजसेवी व सोसायटी की प्रेसिडेंट जया गोयल ने अपने प्रारम्भिक भाषण में सोसायटी द्वारा किए गए समाज कल्याण कार्यों का विवरण दिया और जया गोयल ने कार्यक्रम में आए सभी गणमान्य और श्रोतागणों का आभार जताया, उन्होंने कहा कि इस कार्यक्रम को सफल बनाने के लिए वे ओम सन्स और जेपी हेल्थकेयर का आभार प्रकट करती हैं। जया ने कहा कि कार्यक्रम का उद्देश्य अव्यवसायिक गायकों को मंच प्रदान करना था, ताकि वे अपने अंदर के छुपे हुनर को जगजाहिर कर सके। उन्होंने कहा कि कार्यक्रम में सदाबहार गानों को गाना प्रतिष्ठित गायकों को भावपूर्ण श्रद्धांजली देना भी था।

इस आयोजन में एक ओर जहां आंगनवाडी महिलाओं ने हिमाचल प्रदेश के प्रसिद्ध लोक नृत्य नाटी दर्शकों के समक्ष प्रस्तुत कर दर्शकों से खूब प्रशंसा बटोरी वहीं दूसरी ओर अव्यवसायिक गायकों द्वारा एक से बढ़कर एक सदाबहार फिल्मी गाने गाकर श्रोताओं का घंटों समां बांधा और खूब तालियां बटोरी। अव्यवसायिक गायकों में संजीत शर्मा व सुनीता धीमान ने मेघा रे मेघा रे; आर्यन कुमार ने आज मौसम बड़ा बेइमान है बड़ा; डॉ अनामिका ने अब के बरस सावन में; कर्नल विक्रम ने मेरे नैना सावन भादो; रानी सुमन ने मेरे कंठ बसो महारानी; डीपी शर्मा ने तू गंगा की मौज में; कंचन जैन ने जवां है मोहब्बत; संजय बख्शी ने तुम ने मुझे देखा; आर सी दास ने छल्लकाए जाम; करमवीर ने नखरे वाली; लिली गुप्ता ने जब छाए मेरा जादू; अशोक डोडा ने दिवाना लेके आया है; पुनीता वर्मा ने आगे भी जाने ने तू; वीना सोफ्त ने दिल में तुझे बसा के; कंचन भल्ला ने बहारों मेरा जीवन; साधना ने ओ सजना बरखा बहार; इंदू ने सावन के झूले पडे़; जैसे मधुर व सदाबहार गानों को गाकर श्रोताओं को दिल जीत लिया और उन्हें झूमने पर मजबूर कर दिया।

कार्यक्रम के अंत में आयोजक जया गोयल व गणमान्यों द्वारा कलाकारों को स्मृति चिन्ह देकर सम्मानित किया। कार्यक्रम में संगीत का प्रबंधन राजबीर द्वारा किया गया था जबकि मंच का संचालन कंचन भल्ला ने किया।